जय गणेश जय गणेश जय गणेश देवा।
रोज करो पूजा पाठ ,और करो सेवा।।
लड्डू मोदक तुमको भाये , फूल पान मिलके चढ़ाये।
धूप आरती रोज लगाये , चरणों मे हम शीश नवाये।।
मूसक के तुम हो सवारी , एक दन्त के तुम हो धारी।
लंबोदर महाराज कहलाते , पेट तुम्हारा है सबसे भारी।।
अन्धे को तुम आँख देते , कोढ़िन को तुम देते काया।
सबकी भव बाधा को हरते , बढाते हो सबकी माया ।।
जय गणेश जय गणेश जय गणेश देवा।
रोज करो पूजा पाठ , और करो सेवा।।
प्रिया देवांगन "प्रियू"
पंडरिया (कवर्धा)
छत्तीसगढ़
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